प्यार के लिए सुहाग का कत्ल : बेवफा बीबी और प्रेमी तक ऐसे पहुंची बलिया पुलिस



Ballia News : सहतवार थाना पुलिस ने अनिल चौहान हत्याकांड का खुलासा कर दिया है। पुलिस ने कातिल पत्नी और उसके प्रेमी को गिरफ्तार कर लिया। आरोपी की निशानदेही पर पुलिस ने हथियार भी बरामद कर लिया है। पूछताछ में आरोपी ने पुलिस को बताया कि, अनिल उनके प्यार के बीच रोड़ा बन रहा था, इसलिए उसे मारना पड़ा। पुलिस ने सुसंगत धाराओं में दोनों का चालान न्यायालय किया, जहां से उन्हें जेल भेज दिया गया।
सतवार थाना क्षेत्र के अतरडरिया गांव निवासी अनिल चौहान (35) का गला रेता शव 6 अगस्त की सुबह एक गड्ढे में फेंक मिला था। आसपास के बच्चों ने शव देखा तो परिजनों को सूचित किया।पुलिस ने शव को कब्जे में लेकर पोस्टमॉर्टम के लिए भेज दिया। वहीं, मामले में अनिल की बेवफा पत्नी और उसके प्रेमी की चर्चा-ए-खास बन गई। जांच-पड़ताल के दौरान पुलिस ने 10 अगस्त को आरोपी पत्नी और उसके प्रेमी को सहतवार रेलवे स्टेशन से गिरफ्तार कर लिया। दोनों ट्रेन से कहीं भागने की फिराक में थे।
बता दें कि अनिल और अनीता की शादी करीब 11 साल पहले हुई थी। अनिल प्राइवेट नौकरी करता था। परिवार में पत्नी अनीता और एक बेटा और एक बेटी हैं। इधर अनीता की नजरे करीब सात साल पहले गांव के ही दिलीप से चार हुई, फिर क्या था इनका प्यार इस कदर परवान चढ़ा कि दोनों एक-दूजे के बिना एक पल भी नही रहना चाहते थे। दोनों का घर भी आमने-सामने हैं। अनीता 27 जुलाई को अपने ससुराल से प्रेमी संग मुंबई भाग गई। 4 अगस्त को थाने में दोनों परिवारों को बुलाया गया। वहां भी अनीता प्रेमी के साथ रहने की जिद पर अड़ी रही और थाने से अपने मायके चली गई। अनिल के परिवार का आरोप है कि मायके में रहकर अनीता ने दिलीप संग मिलकर अनिल की हत्या का प्लान बनाया।
पुलिस के अनुसार दिलीप ने बताया कि हम लोग साथ रहना चाहते थे, लेकिन अनिल इसमें रोड़ा बन रहा था। लगभग साढ़े तीन साल पहले उसने हम दोनों को साथ में पकड़ लिया था, तब गांव में पंचायत हुई थी। पंचायत में अनीता को पति के साथ रहने के लिए बोला गया। कुछ दिन सब शांत रहा, लेकिन फिर हम लोग मिलने लगे। धीरे-धीरे ये बात पूरे गांव में फैल गई। बदनामी की वजह से अनिल ने अनीता के साथ मारपीट की। अनिल अनीता को घर से निकलने नहीं देता था। जब अनिल काम से बाहर जाता, तब मैं लुक छिपकर अनिता से मिलता था। अनिता मुझे बताती थी कि अनिल प्रताड़ित कर रहा है। यह सुनकर मेरा खून खौलता था।
फिर हम दोनों ने उसे रास्ते से हटाने का फैसला किया। तय हुआ कि अनिल जब गांव आएगा तो उसे मार देंगे। पता चला कि 24 जुलाई को अनिल गांव आने वाला है, उससे पहले हम दोनों मुंबई भाग गए थे, लेकिन अनीता के परिवार ने उसको बुला लिया था, क्योंकि अनिल ने अनीता के गायब होने की शिकायत पुलिस से कर दी थी। 4 अगस्त को पुलिस के सामने अनीता को अपने साथ अनिल ले जाना चाहता था। लेकिन अनीता मायके चली गई। इधर, मैं रोज अनिल की रेकी करता था। वो कब घर से अकेले निकलता है ? कहां जाता है ? 6 अगस्त की सुबह अनिल टहलने के लिए निकला था, तभी मैंने पीछे से गला रेत दिया।

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