सपना साकार : बलिया की बेटी संस्कृति तिवारी बनीं डाक्टर, चहुंओर खुशी की लहर




बलिया। दादा का सपना था पोती डॉक्टर बनें, तो पोती कहां रुकने वाली थी। संस्कार और संस्कृति के पालने में पली-बढ़ी पोती दादा के सपने को पूरा करने के लिए दिन रात मेहनत की और भर ली उड़ान आसमां की। अपने हौंसले और ईमानदार मेहनत के दम पर MBBS की ड्रिगी हासिल की और बन गईं एक कुशल डॉक्टर।
हम बात कर रहें है जिले के ग्राम जैदोपुर मठिया छितौनी निवासी संस्कृति तिवारी का। अपने दृढ़ निश्चय और परिश्रम के बल पर संस्कृति ने यह सफलता हासिल की है। संस्कृति स्व. जगदंबा तिवारी की पौत्री हैं। जीते-जी जगदंबा तिवारी का बड़ा सपना था कि हमारी पौत्री डॉक्टर बने, जिसके बाद संस्कृति ने अपने दादा के सपने को पूरा करने के लिए पूरी जान लगा दी और डॉक्टर बनकर ही घर आईं।
संस्कृति के डॉक्टर बनने के बाद से पूरे घर में खुशी की लहर है। बधाईयां देने के लिए रिश्तेदारों का आना लगा हुआ है। मिठाईयों का दौर जारी है। अपनी बिटिया की उपलब्धि पर पिता मनोज तिवारी और माता रानी तिवारी गर्व महसूस कर रही हैं। इन खुशी के पल के बीच तिवारी परिवार जगदंबा तिवारी को याद कर रहा है। मनोज तिवारी ने कहा कि आज पिता जी की कमी महसूस हो रही है। वह यहां होते तो बेहद खुश होते। वहीं संस्कृति की इस उपलब्धि पर पूरा परिवार खुशी से झूम रहा है। आस-पडौस के लोगों का जमावड़ा लगा हुआ है। हर कोई संस्कृति के भविष्य की कामना करते हुए बेटी को अपना आर्शीवाद दे रहे हैं।

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