‘फिरकी वाली’ ने जातिवादी ताकतों एवं प्रशासनिक दुर्व्यवस्था पर किया कुठाराघात

‘फिरकी वाली’ ने जातिवादी ताकतों एवं प्रशासनिक दुर्व्यवस्था पर किया कुठाराघात


बलिया। वाइल्ड बंच क्रिएशन्स एवं फीनीक्स इन्टर नेशनल स्कूल, के बैनर तले गाजीपुर के ख्यातिलब्ध कथाकार प्रोफेसर राम बदन राय के उपन्यास फिरकी वाली पर आधारित नाटक ‘फिरकी वाली’ का मंचन बापू भवन टाउन हाल सभागार में हुआ। समीर खान के नाट्य रूपान्तरण एवं निर्देशन में मंचित नाटक का उद्घाटन मुख्य अतिथि के रूप में डॉ0 मान्धाता राय ने किया। कार्यक्रम का शुभारम्भ कलकत्ता रंगमंच पर सक्रिय रंगकर्मी आशुतोष कुमार सिंह ने मां सरस्वती के चित्र  के समक्ष दीप प्रज्जवलित एवं माल्यार्पण करके किया।

 कार्यक्रम में लेखक राम बदन राय सपरिवार उपस्थित रहे, उन्होंने अपने सम्बोधन में कहा कि उपन्यास लेखन की अपनी सीमायें होती है, जबकि नाट्य प्रस्तुति की अपनी दोनों विधाओं में काफी अन्तर होता है। फिर भी निर्देशक तथा कलाकारों ने अथक प्रयास से इस अन्तर को पाटने का कार्य किया है। विजय बहादुर सिंह संचालन करते हुए नाटक की भूमिका बताते हुए कहा कि उपन्यास आज से पचास वर्ष पूर्व की सामाजिक व्यवस्था की विवेचना करती है लेकिन वर्तमान समय में भी पूर्ण रूप से प्रासंगिक है। नाटक में जातिगत, प्रशासनिक, स्त्री-विमर्श के साथ ही आपसी एकजुटता का संदेश प्रदर्शित किया गया। नाटक के निर्देशक समीर खान ने बताया कि नाटक में पांच पीढ़ियों के कलाकार एक साथ मंच पर उतरे, जिसमें 1960 से लेकर 2010 के दशक में जन्में कलाकारों ने  सहभाग किया।
 नायक की भूमिका में समीर खान, नायिका के रूप में निधि तिवारी, रषल यादव, सुनील कुमार यादव के साथ शनिचरी-सुनीता पर्वत, मनमौनी-चन्दन भारद्वाज, देवन बाबू कौशल शुक्ल, दीवान रामदीन पाण्डेय-आफताब आलम, महामहिम के रूप में जगदीश सिंह, जो सिख समुदाय से हैं और पहली बार मंचारूढ़ हुए। वरिष्ठ सांकर्मी विवेकानन्द सिंह गाँव के मुखिया के रूप में दिखे, इनके साथ ही हिमांशु गुप्ता, नितेश शर्मा, शोएब अहमद, अंकित, राहुल यादव, अमरजीत, अमित दिलीप, प्रिया, सुनील शर्मा इत्यादि कलाकारों के साथ संगीत दिया कृष्ण कुमार ‘मिठ्ठू’ और नितेश शर्मा लाइट पर सुनील शर्मा थे, साउण्ड सिस्टम पर रसड़ा के आरिफ भाई के साथ मंच परिकल्पना तथा भेष-भूषा तथा मेकअप हिमांशु गुप्ता का था। नाटक की तैयारी में फीनीक्स स्कूल के कर्मचारियों सुधाकर सर, राजीव के साथ ही डॉ0 राजेन्द्र भारती तथा बलिया जनपद से नेशनल स्कूल ऑफ ड्रामा के स्नातक रंगकर्मी निर्मल कान्त चौधरी ने सहयोग किया। डॉ0 गौरव पाण्डेय, सुश्री सुनीता पाठक, विपुल आरा एच0के0 स्कूल शॉई ई-रिक्शा का सहयोग रहा। 

By-Ajit Ojha


Post Comments

Comments

Latest News

बलिया ने खो दिया आज़ादी की लड़ाई का आखिरी साक्षी, नहीं रहे सेनानी रामविचार पाण्डेय बलिया ने खो दिया आज़ादी की लड़ाई का आखिरी साक्षी, नहीं रहे सेनानी रामविचार पाण्डेय
बलिया : वरिष्ठ स्वतंत्रता सेनानी रामविचार पांडेय का निधन हो गया। वे जनपद के एकमात्र जीवित स्वतंत्रता सेनानी थे। उनके...
Ballia News : फेफना विधानसभा के चारों मंडल के भाजपा पदाधिकारियों की बैठक में इन विन्दुओं पर फोकस
बलिया का ददरी मेला : भारतेंदु मंच पर संत समागम, प्रतिष्ठित 25 धर्मगुरु देंगे उपदेश
ददरी मेला बलिया : भोजपुरी नाइट्स में धमाल मचायेंगे भोजपुरी अभिनेता और अभिनेत्री
बलिया में भीषण Road Accident : पेड़ से टकराई तेज रफ्तार बोलेरो, चार लड़कों की दर्दनाक मौत
12 November Ka Rashifal : जानिएं क्या कहते हैं आपके सितारे
बलिया में वेतन के लिए प्राथमिक शिक्षक संघ का बड़ा फैसला